Thursday, 30 December 2010

कौथिक मा राजी-खुशी, रन्त-रैबार और सेवा सौन्यी


Copyright © 2010, Vinod Jethuri

नव वर्ष की हार्दिक सुभकामनाये..! (Happy New Year - 2011)

आप सभी दगडियों तै नयू साल कु हार्दिक शुभकामनायें, औण वालु ये नव वर्ष मा आप और आप कू परिवार मा खूशियो की बहार हो, चारो तरह शुख और शान्ति कु माहौल हो.ईन दुवा मी आप सभी दगडियो तै और आपकू परिवार कु वस्त करदू..अपणु सुभकामना सन्देश आप तक ये गीत कु माध्यम सी पहुंचाणू छौ..."जय उत्तराखन्ड जय भारत"...


Vinod Jethuri

Monday, 27 December 2010

कौथिक दुबईखाल की

 

सयुक्त अरब ईमिरात मे रह रहे प्रवासी उत्तराखन्डियो (उत्तरान्चली एशोसियसन आप ईमिरात ग्रुप) द्वारा नये साल को कौथिक के रुप मे दुबई राज्य मे हर साल हर्शॊउलाष के साथ मनाया जाता है...दुबई (दुबईखाल) के इस कौथिक मे आप सभी को आमन्त्रण हेतू ये कुछ पन्क्तिया सादर:-

२८ गति पौश की या
७ तारिक जनवरी..!
होन्दू हर साल थौल
बल दुबईखाल की..!!
कौथिगेर आला सभी
आली बेटी-ब्वारी भी
दान-सयाण नचला मन्डाण
ढोल-दमो क दगडी..!!
घौर बटी अया महिमानो की
करदा सतकार जी
झुमैद्या दुबईखाल तै आज
अपण सुर-ताल सी..!!
छोडी ईर्श्या, दुश्मन्यात
हम सभी छवा भयात
कौथिग क ये दिन मा
ह्वे जौला हम अभी साथ..!!
अपण घौर-गांव सी दूर
खुदेन्दू पराण भी..
खुद बिसरै द्योला आज
अपणो सी मिली की..!
२८ गति पौश की या
७ तारिक जनवरी..!
होन्दू हर साल थौल
बल दुबईखाल की..!!

27 December 2010 @ 7:10 AM
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Friday, 19 November 2010

रोपणी




 
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घौर बटी

 लखड की कठगोली
खाडू कू सिन्ग !
रोपणी क बल्द
झलक मेरू पहाड की !!







 
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इस फ़ल का नाम ?

उत्तराखन्ड के जन्गलो मे ये फल कंही कंही पर पाया जाता है क्या आप ईस फ़ल का नाम जानते हो ? फ़ल का पेड भी पिछे दिखायी दे रहा है ...आओ ईस फ़ल का नाम पता करें




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कुन्गली कुन्गली फोटो








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Thursday, 18 November 2010

पलायन (बांज कुडी)

हमार पहाड (उत्तराखन्ड) क अधिकतर गांवो मा पलायन क करण इन बांज और खन्डर पूड्या कुडी आप तै दिखणु कु मिलला.! कब रुकलु यू पलायन और क्या होलु यू कुडी पुन्गडीयो कू भगवान मालिक....:(







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रोपणी



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Wednesday, 3 November 2010

शूभ:बग्वाल (Happy Diwali)

चमकुणू होलू आज
मेरू पहाड,
द्यो जगी गे होलू
मेरू गौवं मा !
अन-धन क कुठारो और
दबलो की पूजा होली होणी..!
भैलू और उक्कलो पर
लगी गे होली पिठैयी..!
तेल टपकणु होलू
स्वालो बटी..!
औशी कू दिन येगे
तीन मुख्या तालु  भी,
लाल बणी गे होलू..!
छोट-छोट नौनयाल,
लुकणा  होला,
तालू तै देखी.!
फुलझडी पटाखों की
भडभडाट होली होणी..
गोर-बखर बितगण होला
पटाखो की फ़डफ़डाट सुणी..
भैलू खिनू तै सभी,
हवेगे होला कठ्ठी !
पिठ्या भैलू और
भैलू की लडै..!
मेरू गौंव कु  यू रिवाज,
ईन मनाद छौ बग्वाल !
भाईचारा और प्रेम की मिशाल !
अन्न धन्न की ईगास, बग्वाल
मेरू पहाड की ईगास
मेरू पहाड की बग्वाल
मेरू पहाड की रिती-रिवाज


साल भर बटी होन्दी जैकी जग्वाल,
बौडी येगे आज फिर बग्वाल...!
खुशी  और प्रेम कू यू त्यौहार..
हो सूख:शान्ति और प्रेम की बहार..!!
शूभ:बग्वाल, शूभ:बग्वाल, शूभ:बग्वाल  !!!


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३ नवम्बर २०१० @ २३:३३